जिले के सरकारी स्कूलों में नए सत्र से आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) से भी पढ़ाई करवाई जाएगी। इसके लिए आरएससीईआरटी उदयपुर की ओर से जिले के 2 शिक्षकों सहित प्रदेशभर के 87 शिक्षकों को पहले दौर की ट्रेनिंग दी जा चुकी है। 27 व 28 दिसंबर को दो दिन की इस ट्रेनिंग में समग्र शिक्षा अभियान के मास्टर ट्रेनर और एआई एक्सपर्ट की ओर से शिक्षकों को पढ़ाई और स्कूलों में एआई तकनीक का उपयोग करना सिखाया गया।
अब डीआरपी (डिस्ट्रिक रिसोर्स पर्सन) ब्लॉक स्तर केआरपी को ट्रेनिंग देंगे और फिर ब्लॉक के केआरपी स्कूल स्तर पर ट्रेनिंग देंगे। ब्लॉक स्तर पर 2 से 4 शिक्षकों को जल्द ट्रेनिंग दी जाएगी। वर्तमान में सरकारी और निजी स्कूलों की कार्यप्रणाली में काफी अंतर आ गया है। प्राइवेट स्कूल हर दृष्टि से सरकारी स्कूलों से बेहतर साबित हो रहे हैं। ऐसे में सरकारी स्कूल एआई का उपयोग कर काफी हद तक इस कमी को पूरा कर सकते हैं।
सीडीईओ गोविंदसिंह राठौड़ के अनुसार जिस तरह से शिक्षा में आए दिन नवाचार किए जा रहे हैं, उसको सुचारू रूप से चलाने और बेहतर करने के लिए नवीन तकनीक मददगार साबित होगी। एआई बच्चों को सीखने के नए और रोचक तरीके प्रदान कर रही है। बच्चों को उनकी व्यक्तिगत जरूरतों और रुचियों के अनुसार शिक्षा दी जा सकती है।
समसा के कार्यक्रम अधिकारी सुरेंद्र महला ने बताया कि इंटरेक्टिव बोर्ड से एआई तकनीक से पढ़ाया जा सकता है। क्लासरूम को स्मार्ट बनाने के लिए जिले के 334 सरकारी स्कूलों में स्मार्ट बोर्ड लगाए जा चुके हैं। कई स्कूलों में अभी लगाए जा रहे हैं।