राजस्थान सरकार ने पंचायत चावन को लेकर बड़ा फैसला लिया है जिन सरपंच का कार्यकाल अभी खत्म हो रहा था उनका कार्यकाल बढ़ा दिया गया है इससे सरकार ने राजस्थान में वन स्टेट वन इलेक्शन की राह प्रशस्त कर दी है।
राजस्थान की 6759 ग्राम पंचायत में जनवरी में चुनाव कराने की जगह सरकार ने मौजूदा सरपंचों को ही प्रशासक नियुक्त करने का फैसला किया है सरपंचों की सहायता के लिए हर ग्राम पंचायत लेवल पर एक प्रशासकीय कमेटी भी बनेगी इसमें उपसरपंच एवं वार्ड पांच मेंबर होंगे।
पंचायती राज विभाग में सरपंचों को प्रशासक नियुक्त करने और प्रशासनिक समिति बनाने के लिए नोटिफिकेशन जारी किया है राजस्थान सरकार ने मध्य प्रदेश मॉडल पर यह फैसला लिया है इससे पहले मध्य प्रदेश सहित कई भाजपा शासित राज्य भी इसी तरह सरपंचों को प्रशासक बना चुके हैं अब प्रदेश की सभी पंचायती राज संस्थाओं के एक साथ चुनाव करवाने के लिए इसे काफी अहम माना जा रहा है।
फिलहाल राजस्थान में 6759 ग्राम पंचायत का कार्यकाल इसी महीने समाप्त हो रहा है इन पंचायत के चुनाव 31 जनवरी से पहले करवाने जरूरी थे लेकिन राजस्थान सरकार वन स्टेट वन इलेक्शन के लिए उनके चुनाव नहीं करवा रही है अभी पिछले दिनों ही सरकार ने पंचायती राज संस्थाओं के पुनर्गठन का फैसला भी किया था इसलिए जब तक पुनर्गठन नहीं होता तब तक चुनाव नहीं होंगे।
राजस्थान में वर्तमान समय में 11000 से अधिक ग्राम पंचायतें हैं जिनका कार्यकाल अलग-अलग समय पर पूरा हो रहा है वन स्टेट वन इलेक्शन के तहत सभी पंचायती राज संस्थाओं का एक साथ चुनाव करवाने के लिए प्रशासक लगाने जरूरी थे आपको बता दें कि 6759 ग्राम पंचायत का कार्यकाल जनवरी में पूरा हो रहा है जबकि 704 ग्राम पंचायत का कार्यकाल मार्च में पूरा हो जाएगा इसके अलावा 3847 पंचायत का कार्यकाल सितंबर से अक्टूबर महीने में पूरा हो रहा है चुनाव में इसी अंतर को कम करने के लिए प्रशासक लगाने का फैसला किया गया है।
Rajasthan Sarpanch tenure Extended Check
ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज विभाग द्वारा आधिकारिक नोटिफिकेशन भी जारी किया गया है राजस्थान पंचायती राज अधिनियम 1994 की धारा 95 के तहत प्रद्धत शक्तियों का प्रयोग करते हुए राज्य सरकार द्वारा राज्य की ऐसी ग्राम पंचायत जिनका कार्यकाल 31 जनवरी 2025 को समाप्त हो रहा है और उनके चुनाव अपरिहार्य कारणों से संपन्न नहीं हो पा रहे हैं ऐसी समस्त ग्राम पंचायत में संबंधित ग्राम पंचायत के निवर्तमान सरपंच को प्रशासक नियुक्त करने एवं ग्राम पंचायत के कार्यकलापों के सुचारू संचालन की दृष्टि से प्रशासन की सहायतार्थ प्रत्येक ऐसी ग्राम पंचायत के लिए प्रशासकीय समिति का गठन किए जाने का निर्णय लिया गया है इस प्रशासकीय समिति में ग्राम पंचायत का कार्यकाल समाप्त होने से पूर्व वे व्यक्ति जो संबंधित ग्राम पंचायत के उप सरपंच एवं वार्ड पंच रहे हैं सदस्य बनाए जाएंगे।
प्रशासक द्वारा उक्त अधिनियम व संबद्ध नियमों में वर्णित समस्त शक्तियों और कर्तव्यों का प्रयोग और पालन प्रशासकीय समितियों की बैठक में परामर्श उपरान्त किया जायेगा। राजस्थान पंचायती राज अधिनियम, 994 एवं राजस्थान पंचायती राज नियम, 996 के तहत ग्राम पंचायत के खातों का संचालन व वित्तीय शक्तियों का प्रयोग प्रशासक (निवर्तमान सरपंच) एव सम्बन्धित ग्राम विकास अधिकारी द्वारा किया जायेगा। प्रशासक एवं प्रशासकीय समिति की कार्यावधि नवनिर्वाचन के पश्चात गठित ग्राम पंचायत की प्रथम बैठक की तारीख के ठीक पूर्ववर्ती दिन तक रहेगी।
अधिनियम की धारा-98 के तहत प्रदत्त शक्तियों का प्रयोग करते हुए राज्य सरकार द्वारा समस्त जिला कलेक्टर्स को अपने जिले की संबंधित ग्राम पंचायतों में उनका कार्यकाल समाप्त होने की तिथि से उक्तानुसार प्रशासक नियुक्त करने एवं प्रशासकीय समितियों का गठन किये जाने हेतु अधिकृत किया जाता है।
राजस्थान पंचायतों के सरपंचों का कार्यकाल बढ़ाने का आदेश यहां से डाउनलोड करें